रायगढ़। कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी के निर्देशन में खरसिया क्षेत्र में संचालित विभिन्न मेडिकल स्टोरों की संयुक्त औचक जांच की गई, जिसमें नशीली दवाओं की अनियमित बिक्री को लेकर गंभीर तथ्य सामने आए। यह कार्रवाई खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग, राजस्व विभाग तथा पुलिस विभाग की संयुक्त टीम द्वारा उस शिकायत के आधार पर की गई, जिसमें बिना पर्ची नशीली दवाओं की बिक्री की जानकारी मिली थी।
उल्लेखनीय है कि कलेक्टर ने समय सीमा की बैठक में संबंधित विभाग को जिले के शहरी, कस्बाई और ग्रामीण क्षेत्रों में संचालित मेडिकल स्टोर्स में प्रतिबंधात्मक दवाओं, नशीली दवाओं की बिक्री पर रोक लगाने और सतत् निरीक्षण करने के निर्देश दिए थे। हाल ही में जिले के प्रभारी सचिव ने भी समीक्षा बैठक में आवश्यक चर्चा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए थे। खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग, राजस्व विभाग तथा पुलिस विभाग की संयुक्त टीम द्वारा राजेश मेडिकल, टी.आई.टी. कॉलोनी खरसिया, आशोक मेडिकल, अमरनाथ चौक, दीपक मेडिकल स्टोर, रेलवे स्टेशन रोड, तथा भागवत मेडिकल स्टोर, रेलवे स्टेशन रोड का निरीक्षण किया। प्रारंभिक जांच के दौरान राजेश मेडिकल में दो नशीली दवाओं कोरेक्स, कोफ-विक्सकृका डॉक्टर के पर्ची के बिना बिक्री पाया गया, जिसके कारण स्टोर संचालक को औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं नियम 1945 के तहत कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
इसी प्रकार भागवत मेडिकल स्टोर में नशीली दवाओं का विक्रय रिकॉर्ड एवं डॉक्टर की पर्ची मौके पर उपलब्ध नहीं पाई गई। रिकॉर्ड में भारी कमी को गंभीर मानते हुए यहां भी कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। टीम ने सभी मेडिकल स्टोर संचालकों को निर्देश दिए कि वे किसी भी प्रकार की नशीली दवा बिना डॉक्टर की वैध पर्ची के न बेचें तथा रिकॉर्ड संधारित करना अनिवार्य है। साथ ही सिरिंज जैसी चिकित्सीय वस्तुओं के बिल सहित विक्रय सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए। इस कार्रवाई में खाद्य एवं औषधि निरीक्षक अमित राजोरिया, विजय कुशवाहा, सुश्री साविता रानी, प्रवीण तिवारी एसडीएम खरसिया तथा प्रमात पटेल एसडीओपी खरसिया उपस्थित थे।
खरसिया अंचल की मेडिकल दुकानों में गिरी प्रशासनिक गाज
औचक निरीक्षण के दौरान नशीली दवाओं की बिक्री पर मिली गंभीर अनियमितताएँ, राजेश व भागवत मेडिकल स्टोर को नोटिस जारी, बिना पर्ची के बेची जा रही थी नशीली दवाएं



