रायपुर। महादेव सट्टा ऐप मामले में ईडी के हत्थे गिरीश तलरेजा और सूरज चोखानी को कुछ देर बाद स्पेशल कोर्ट में पेश किया गया। ईडी ने दोनों आरोपियों को रविवार को कोर्ट में पेश किया था और 14 दिन की रिमांड मांगी थी। हालांकि कोर्ट ने एक दिन के लिए उन्हें जेल भेज दिया था। ईडी को आशंका है कि सट्टेबाजी ऐप के करीब 423 करोड़ रुपए चोखानी ने शेयर मार्केट में इन्वेस्ट किए हैं। उसकी पहचान महादेव ऐप के ऑपरेटर हरि शंकर टिबरेवाल के सहयोगी के रूप में की गई है। चोखानी एबिलिटी गेम्स का एमडी है। कोविड-19 के दौरान कथित तौर पर कोरोना किट की बिक्री में लगा था। वहीं गिरीश तलरेजा भोपाल का हवाला ऑपरेटर है। उसकी 500 करोड़ से अधिक के लेन-देन के आरोप में तलाश थी। वह सट्टा ऐप के प्रमोटर सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल के साथ करीबी संबंध हैं। ईडी ने तलरेजा को भोपाल और चोखानी को कोलकाता से गिरफ्तार किया है।
आईपीएल सट्टेबाजी में भी पकड़ा जा चुका है तलरेजा
ईडी की जांच में पता चला है कि तलरेजा लोटस 365 नामक एक कथित अवैध सट्टेबाजी ऐप का संचालन करता था। जो महादेव सट्टा ऐप का सहायक है। इसके जरिए तलरेजा ने कई करोड़ रुपए कमाए, जिसे शेल कंपनियां बनाकर लूटा गया। भोपाल के शुभम सोनी और रतनलाल जैन के साथ उसके संबंधों का खुलासा हुआ है। आरोपी शुभम सोनी, प्रदीप तलरेजा और रतनलाल जैन के बीच कई करोड़ रुपए के लेन-देन का पता चला है। ईडी फिलहाल रतनलाल जैन की तलाश कर रही है। तलरेजा को पहले 2019 में मुंबई एयरपोर्ट पर आईपीएल सट्टेबाजी मामले में गिरफ्तार किया जा चुका है।
चोखानी संभाल रहा था स्काई एक्सचेंज ऐप
ईडी के वकील सौरभ पांडे ने कोर्ट को बताया कि, हवाला ऑपरेटर के रूप में पहचाने गए हरि शंकर टिबरेवाल मूल रूप से कोलकाता का है, लेकिन दुबई में रहता है। टिबरेवाल ने कथित तौर पर महादेव ऐप के प्रमोटरों के साथ साझेदारी की और सट्टेबाजी ऐप स्काई एक्सचेंज का संचालन भी किया। गिरफ्तार आरोपी सूरज चोखानी कथित तौर पर टिबरेवाल की ओर से भारत में स्काई एक्सचेंज को संभाल रहा था। जांच से यह भी पता चला है कि चोखानी स्काई एक्सचेंज में नए लोगों को जोडऩे, आईडी बनाने, बेनामी बैंक खातों के जरिए मनी लॉन्ड्रिंग के लिए प्लेटफार्म तैयार कर रहा था। दुबई में हुई बर्थ डे पार्टी में गिरीश तलरेजा भी शामिल हुआ था। ईडी को उस पार्टी का वीडियो भी मिला है, जिसमें महादेव ऐप के प्रमुख भी मौजूद हैं।
सट्टा ऐप की कमाई को शेयर मार्केट में किया इन्वेस्ट
जांच के दौरान ईडी को पता चला कि चोखानी के माध्यम से आरोपी टिबरेवाल विदेशी पोर्टफोलियो निवेश (एफपीआई) के जरिए अपनी दुबई स्थित संस्थाओं से भारतीय शेयर बाजार में सट्टेबाजी की आय का निवेश कर रहा था। टिबरेवाल ने अपने कई सहयोगियों को विभिन्न कंपनियों में निदेशक के रूप में भी नियुक्त किया था। इसके अलावा, वह सट्टेबाजी फंड के बड़े पैमाने पर हवाला गतिविधियों में भी शामिल था। ईडी ने पीएमएलए के तहत टिबरेवाल की 580.78 करोड़ की संपत्ति जब्त की है। एजेंसी ने तलाशी के दौरान 1.86 करोड़ कैश और 1.78 करोड़ का कीमती सामान भी बरामद किया।
तलरेजा और चोखानी ने लगाया ईडी पर आरोप
रविवार को गिरीश तलरेजा और सूरज चोखानी की वकील ने कोर्ट में कहा कि दोनों को ईडी ने 24 घंटे के अंदर कोर्ट में पेश नहीं किया है। सूरज चोखानी के वकील आयुष जिंदल ने कहा है कि हमने कोर्ट में यह बताया कि अरेस्ट इल्लीगल है क्योंकि क्लाइंट को 24 घंटे के अंदर कोर्ट में पेश नहीं किया गया। ईडी कह रही है कि, हरिशंकर टिंबरेवाल के पैसे हमारे पास आए, उन पैसों को शेयर मार्केट में लगाया गया है। हरिशंकर के पैसे महादेव ऐप के जरिए आए हैं, यह आरोप लगाए गए हैं। इस बात में कोई दम नहीं, कोई तर्क नहीं है। ईडी ने गिरफ्तारी शनिवार देर रात 12:55 बजे की बताई है, जबकि सूरज चोखानी को 29 फरवरी को गिरफ्तार किया गया था।