जगदलपुर। बीजापुर जिले में शनिवार रात को नक्सलियों ने युवक किडनैप कर गला घोंटकर मार डाला। नक्सलियों ने युवक पर पुलिस की मुखबिरी का आरोप लगाया है। शव के पास पर्चे भी मिले हैं। नक्सलियों ने 2001 से अब तक 1700 से ज्यादा लोगों को मारा है, जिसमें सबसे ज्यादा बीजापुर में मारे गए हैं। मामला भैरमगढ़ थाना क्षेत्र का है। मृतक की पहचान कामेश कुंजाम (25) के रूप में हुई है, जो डालेर गांव का रहने वाला था। बताया जा रहा है कि शनिवार की देर रात हथियारबंद नक्सली कामेश कुंजाम घर पहुंच गए थे, फिर इसे घर से उठाकर गांव के पास के ही जंगल में ले गए।
इस दौरान नक्सलियों ने ग्रामीण को पुलिस की मुखबिरी के शक में मौत की सजा दी। हत्या के बाद नक्सलियों ने शव को चिहका टिन्डोडी जोडान मार्ग पर फेंक दिया। इसके साथ ही भैरमगढ़ एरिया कमेटी ने घटनास्थल पर नक्सल पर्चा भी छोड़ा है। शव के ऊपर पर्चे को चिपका दिया है। भैरमगढ़ एरिया कमेटी ने पर्चे में युवक की हत्या की जानकारी ली है। साथ ही लिखा कि ये नक्सलियों के खिलाफ पुलिस के लिए काम करता था, इसलिए इसे मौत के घाट उतारा गया। ग्रामीणों ने वारदात की सूचना पुलिस को दे दी है। मामले की जानकारी मिलते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंची। ग्रामीण युवक की लाश को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है। वहीं अज्ञात नक्सलियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। वारदात के बाद से इलाके में दहशत का माहौल है।
प्रदेश में साल 2001 से अब तक नक्सलियों ने 1700 से ज्यादा आम नागरिकों की हत्या की है। इनमें सबसे ज्यादा सिर्फ बीजापुर जिले में ही 783 लोग मारे गए हैं। आईईडी ब्लास्ट, पुलिस मुखबिरी के शक में हत्या के आंकड़े सबसे ज्यादा हैं। सलवा जुडूम के दौर में नक्सलियों ने बस्तर में सबसे ज्यादा खूनी खेल खेला है। हालांकि, पिछले 23 साल में पहली बार अब पुलिस नक्सलियों पर भारी पड़ रही है। आम नागरिकों के अलावा नक्सलियों ने एंबुश लगाकर, पुलिस कैंप पे हमला कर, आईईडी ब्लास्ट कर करीब 1250 से ज्यादा जवानों की जान ली थी। ये सिर्फ बस्तर में नक्सली हिंसा में शहादत का सबसे बड़ा आंकड़ा है। ताड़मेटला, रानी बोधली बुरकापाल, झीरम जैसी घटनाएं नक्सलियों ने की है।
नक्सलियों ने युवक को किडनैप कर मार-डाला
आधीरात घर से उठा ले गए, घोंट दिया गला
